Tuesday, October 1, 2024

 जिस पल आपकी मृत्यु हो जाती है, 

उसी पल से आपकी पहचान एक "बॉडी" बन जाती है।

अरे

"बॉडी" लेकर आइये, 

"बॉडी" को उठाइये,

ऐसे शब्दो से आपको पुकारा जाता है, वे लोग भी आपको आपके नाम से नही पुकारते ,

जिन्हे प्रभावित करने के लिये आपने अपनी पूरी जिंदगी खर्च कर दी।


इसीलिए


जीवन में आने वाली हर चुनौती को स्वीकार  करें।......

अपनी पसंद की चीजों के लिये खर्चा करें।......

इतना हंसिये के पेट दर्द हो जाये।....


आप कितना भी बुरा नाचते हो ,

फिर भी नाचिये।......

उस खूशी को महसूस कीजिये।......

फोटोज् के लिये पागलों वाली पोज् दीजिये।......

बिलकुल छोटे बच्चे बन जाइये ।


क्योंकि मृत्यु जिंदगी का सबसे बड़ा लॉस नहीं है।

लॉस तो वो है 

के जिंदा होकर भी आपके अंदर जिंदगी जीने की आस खत्म हो चुकी है।.....


हर पल को खूशी से जीने को ही जिंदगी कहते है।

"जिंदगी है छोटी,पर" हर पल में खुश हूँ "काम में खुश हूं,"आराम में खुश हूँ ,


"आज पनीर नहीं," दाल में ही खुश हूं,

"आज गाड़ी नहीं," पैदल ही खुश हूं,


"दोस्तों का साथ नहीं," अकेला ही खुश हूं,

"आज कोई नाराज है," उसके इस अंदाज से ही खुश हूं,


"जिस को देख नहीं सकता," उसकी आवाज से ही खुश हू

#aapka_job_placement 


Wednesday, April 10, 2024

मोटिवेशन कहानी

 एक बार कुछ scientists ने एक बड़ा ही interesting experiment किया..

उन्होंने 5 बंदरों को एक बड़े से cage में बंद कर दिया और बीचों -बीच एक सीढ़ी लगा दी जिसके ऊपर केले लटक रहे थे..

जैसा की expected था, जैसे ही एक बन्दर की नज़र केलों पर पड़ी वो उन्हें खाने के लिए दौड़ा..

पर जैसे ही उसने कुछ सीढ़ियां चढ़ीं उस पर ठण्डे पानी की तेज धार डाल दी गयी और उसे उतर कर भागना पड़ा..

पर experimenters यहीं नहीं रुके,

उन्होंने एक बन्दर के किये गए की सजा बाकी बंदरों को भी दे डाली और सभी को ठन्डे पानी से भिगो दिया..

बेचारे बन्दर हक्के-बक्के एक कोने में दुबक कर बैठ गए..

पर वे कब तक बैठे रहते,

कुछ समय बाद एक दूसरे बन्दर को केले खाने का मन किया..

और वो उछलता कूदता सीढ़ी की तरफ दौड़ा..

अभी उसने चढ़ना शुरू ही किया था कि पानी की तेज धार से उसे नीचे गिरा दिया गया..

और इस बार भी इस बन्दर के गुस्ताखी की सज़ा बाकी बंदरों को भी दी गयी..

एक बार फिर बेचारे बन्दर सहमे हुए एक जगह बैठ गए...

थोड़ी देर बाद जब तीसरा बन्दर केलों के लिए लपका तो एक अजीब वाक्य हुआ..

बाकी के बन्दर उस पर टूट पड़े और उसे केले खाने से रोक दिया,

ताकि एक बार फिर उन्हें ठन्डे पानी की सज़ा ना भुगतनी पड़े..

अब experimenters ने एक और interesting चीज़ की..

अंदर बंद बंदरों में से एक को बाहर निकाल दिया और एक नया बन्दर अंदर डाल दिया..

नया बन्दर वहां के rules क्या जाने..

वो तुरंत ही केलों की तरफ लपका..

पर बाकी बंदरों ने झट से उसकी पिटाई कर दी..

उसे समझ नहीं आया कि आख़िर क्यों ये बन्दर ख़ुद भी केले नहीं खा रहे और उसे भी नहीं खाने दे रहे..

ख़ैर उसे भी समझ आ गया कि केले सिर्फ देखने के लिए हैं खाने के लिए नहीं..

इसके बाद experimenters ने एक और पुराने बन्दर को निकाला और नया अंदर कर दिया..

इस बार भी वही हुआ नया बन्दर केलों की तरफ लपका पर बाकी के बंदरों ने उसकी धुनाई कर दी और मज़ेदार बात ये है कि पिछली बार आया नया बन्दर भी धुनाई करने में शामिल था..

जबकि उसके ऊपर एक बार भी ठंडा पानी नहीं डाला गया था!

experiment के अंत में सभी पुराने बन्दर बाहर जा चुके थे और नए बन्दर अंदर थे जिनके ऊपर एक बार भी ठंडा पानी नहीं डाला गया था..

पर उनका behaviour भी पुराने बंदरों की तरह ही था..

वे भी किसी नए बन्दर को केलों को नहीं छूने देते..

Friends, हमारी society में भी ये behaviour देखा जा सकता है..

जब भी कोई नया काम शुरू करने की कोशिश करता है,

चाहे वो पढ़ाई , खेल , एंटरटेनमेंट, business, राजनीती, समाजसेवा या किसी और field से related हो, उसके आस पास के लोग उसे ऐसा करने से रोकते हैं..

उसे failure का डर दिखाया जाता है..

और interesting बात ये है कि उसे रोकने वाले maximum log वो होते हैं जिन्होंने ख़ुद उस field में कभी हाथ भी नहीं आज़माया होता..

इसलिए यदि आप भी कुछ नया करने की सोच रहे हैं और आपको भी समाज या आस पास के लोगों का opposition face करना पड़ रहा है तो थोड़ा संभल कर रहिये..

अपने logic और guts की सुनिए..

ख़ुद पर और अपने लक्ष्य पर विश्वास क़ायम रखिये..

और बढ़ते रहिये..

कुछ बंदरों की ज़िद्द के आगे आप भी बन्दर मत बन जाइए..

Monday, March 18, 2024

 #संसार में दो प्रकार के #पेड़ #पौधे होते हैं...


#प्रथम - अपना फल स्वयं दे देते हैं... जैसे - आम, अमरुद, केला इत्यादि ।


#द्वितीय - अपना फल छिपाकर रखते हैं... जैसे - आलू, अदरक, प्याज इत्यादि ।


जो फल अपने #आप दे देते हैं, उन वृक्षों को सभी #खाद- #पानी देकर सुरक्षित रखते हैं, और ऐसे वृक्ष फिर से फल देने के लिए तैयार हो जाते हैं। किन्तु जो अपना फल #छिपाकर रखते है, वे जड़ सहित #खोद लिए जाते हैं, उनका वजूद ही #खत्म हो जाता हैं।


ठीक इसी प्रकार... जो #व्यक्ति अपनी विद्या, धन, शक्ति स्वयं ही समाज सेवा में समाज के #उत्थान में लगा देते हैं, उनका सभी ध्यान रखते हैं और वे # मान-सम्मान पाते है।


वही दूसरी ओर... जो अपनी विद्या, धन, शक्ति स्वार्थवश #छिपाकर रखते हैं, किसी की #सहायता से मुख मोड़े रखते है, वे #जड़ सहित खोद लिए जाते है, अर्थात् #समय रहते ही #भुला दिये जाते है।


प्रकृति कितना #महत्वपूर्ण संदेश देती है, बस समझने, #सोचने और कार्य में परिणित करने की बात है !!!

Thursday, February 22, 2024

कहानी मोटिवेशन की

 एक बार की बात है, एक छोटे से गाँव में एक लड़का रहता था। उसका नाम राहुल था। राहुल की मां एक गरीब और संयमी महिला थी, जो अपने बेटे को बहुत प्यार करती थी और उसे सच्चे मन से पढ़ाई करने की सलाह देती थी।


राहुल के पास कुछ नहीं था, सिवाय एक बहुत बड़े सपने के। वह अपने गाँव को छोड़कर शहर में पढ़ाई करने चाहता था। लेकिन उसके पास पर्याप्त पैसे नहीं थे।

उसके लिए यह एक बड़ी चुनौती थी, लेकिन उसने हार नहीं मानी। उसने अपनी मेहनत और लगन से एक स्कॉलरशिप प्राप्त की और अंत में अपने सपने को पूरा किया।

राहुल की कहानी हमें यह सिखाती है कि जीवन में सफलता प्राप्त करने के लिए आत्मविश्वास, मेहनत, और संघर्ष की आवश्यकता होती है। अगर हम अपने सपनों की ओर सच्चाई से मोड़ते हैं, तो हम हर कठिनाई को पार कर सकते हैं और अपने लक्ष्यों को हासिल कर सकते हैं। राहुल की कहानी हमें यह भी सिखाती है कि हालात जितने भी मुश्किल क्यों न हों, हमें अपने सपनों पर विश्वास बनाए रखना चाहिए और किसी भी हालात में हार नहीं माननी चाहिए।

Wednesday, February 14, 2024

मोटिवेशनल कहानी

 एक समय की बात है, एक बड़ा शिकारी जंगल में शिकार के लिए निकला। वह अपने घर के बड़े-बड़े शेरों के साथ शिकार करने के लिए जंगल में गया था। लेकिन शिकार के लिए निकलने के बाद उसने अपने बड़े-बड़े शेरों को कहा, "आज हमें इस जंगल के किसी नए क्षेत्र में शिकार करना है। हमें उसे अपनी पहचान में लेने के लिए कुछ अलग तरीके से सोचना होगा।"


बड़े-बड़े शेरों ने स्वीकार कर लिया और उन्होंने अपने ग्रुप के एक छोटे-से शेर को भी साथ लिया। छोटे-से शेर ने अपनी क्षमता के साथ एक नए क्षेत्र का पता लगाया और उन्होंने वहां एक महाशक्तिशाली शेर को पाया।


बड़े-बड़े शेरों ने आश्चर्यचकित होकर पूछा, "तुम छोटे शेर, हमें कैसे पता था कि इस नए क्षेत्र में एक महाशक्तिशाली शेर होगा?"


छोटे-से शेर ने मुस्कान के साथ कहा, "मुझे यहां उस शेर के पास आने की जानकारी एक खुदाई में मिली थी, जिसे मैंने कुछ दिन पहले की थी। और तुम्हें पता है, जब हम ध्यान से सुनते हैं, तो हमें अच्छे संकेत मिलते हैं।"


यह कहानी हमें यह सिखाती है कि हमें किसी भी काम को करने से पहले ध्यान से सुनना और उसे समझने की आवश्यकता होती है। ध्यान से सुनने और उसे समझने से हमें नई और अनजान चीजों के बारे में ज्यादा ज्ञान मिलता है, जो हमारी सफलता के लिए महत्वपूर्ण होता है।

Monday, February 12, 2024

बुद्धिमान और मूर्ख

 बुद्धिमान और मूर्ख



आइंस्टीन के जो ड्राइवर थे, उन्होंने एक दिन आइंस्टीन से कहा- " सर,आप हर सभा में जो भाषण देते हैं, वह मैंने याद कर लिया है।'' 


-आइंस्टीन हैरान रह गये!


       फिर उन्होंने कहा, "ठीक है, मैं अगली बैठक में जहां जा रहा हूं, वे मुझे नहीं जानते, आप मेरे स्थान पर भाषण दीजिए और मैं ड्राइवर बनूंगा।"


 - ऐसे ही हुआ अगले दिन बैठक में ड्राइवर मंच पर चढ़ गये और ड्राइवर  हूबहू आइंस्टीन की तरह भाषण देने लगा....


    दर्शकों ने जमकर तालियां बजाईं.  फिर वे यह सोचकर गाड़ी के पास आए कि ड्राइवर आइंस्टीन है।


 - तभी एक प्रोफेसर ने ड्राइवर से पूछा, ''सर, आपने जो कुछ भी कहा, क्या आप एक बार फिर संक्षेप में बताएंगे?''


 - असली आइंस्टीन ने देखा बड़ा खतरा !!


    इस बार ड्राइवर पकड़ा जाएगा। लेकिन ड्राइवर का जवाब सुनकर वह हैरान रह गये....


     ड्राइवर ने उत्तर दिया.  -"क्या यह साधारण बात आपके दिमाग में नहीं आई? 


 मेरे ड्राइवर से पूछिए वह आपको समझाएंगे "


 नोट :  "यदि आप बुद्धिमान लोगों के साथ चलते हैं, तो आप भी बुद्धिमान बनेंगे और मूर्खों के साथ ही सदा उठेंगे-बैठेंगे तो आपका मानसिक तथा बुद्धिमता का स्तर और सोच भी उन्हीं की भांति हो जाएगी...!!

@aapkajobplacement

जय श्री राम

 जिस पल आपकी मृत्यु हो जाती है,  उसी पल से आपकी पहचान एक "बॉडी" बन जाती है। अरे "बॉडी" लेकर आइये,  "बॉडी" को उ...